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झारखंड सरकार ने उच्च शिक्षा क्षेत्र में एक ऐतिहासिक निर्णय लेते हुए झारखंड राज्य विश्वविद्यालय विधेयक, 2025 को मंत्रिमंडल की बैठक में मंज़ूरी दे दी. यह विधेयक राज्य की विश्वविद्यालय प्रणाली में दक्षता, पारदर्शिता और गुणवत्ता को सुनिश्चित करने की दिशा में एक मील का पत्थर साबित होगा. जेएमएम के केंद्रीय सदस्य डॉ. तनुज खत्री ने उच्च शिक्षा मंत्री सुदिव्य कुमार सोनू से मुलाकात कर उन्हें विधेयक की स्वीकृति पर बधाई दी.
वोकेशनल पाठ्यक्रम हो लागू
मुलाकात के दौरान डॉ. तनुज ने यह महत्वपूर्ण मुद्दा उठाया कि झारखंड के विभिन्न विश्वविद्यालयों में वोकेशनल (व्यावसायिक) पाठ्यक्रम पहले से ही सेल्फ फाइनेंस मोड में संचालित हो रहे हैं, लेकिन उन्हें अभी तक पूर्ण रूप से विश्वविद्यालयीय ढांचे में समायोजित नहीं किया गया है.
इन वोकेशनल पाठ्यक्रमों को औपचारिक मान्यता और संरचनात्मक समर्थन प्रदान करते हुए पूर्ण रूप से लागू किया जाए, जिससे छात्रों को रोजगारोन्मुख शिक्षा का वास्तविक लाभ मिल सके. इस पर मंत्री सुदिव्य कुमार सोनू ने गंभीरतापूर्वक विचार करने का आश्वासन दिया.
डॉ. तनुज ने कहा कि यह विधेयक राज्य के युवाओं को वैश्विक प्रतिस्पर्धा के योग्य बनाएगा और झारखंड को उच्च शिक्षा का प्रमुख केंद्र बनाने की दिशा में एक निर्णायक कदम है. इस मौके पर झारखंड छात्र मोर्चा के रांची विश्वविद्यालय अध्यक्ष अमन तिवारी तथा सचिव असद फ़राज़ भी उपस्थित रहे. झारखंड मुक्ति मोर्चा इस विधेयक का स्वागत करता है और सरकार को बधाई देते हुए अपेक्षा करता है कि यह विधेयक जल्द ही विधानसभा में भी पारित होकर राज्यभर में प्रभावी रूप से लागू किया जाएगा.