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गोड्डा के सांसद निशिकांत दुबे ने देवघर स्थित बाबा मंदिर थाना में अपने खिलाफ एफआईआर दर्ज होने के एक मामले को लेकर शनिवार को वह अपनी गिरफ्तारी देने बाबा मंदिर थाना पहुंचे. मंदिर थाना पहुंचने के बाद कानूनी प्रक्रिया के तहत उन्होंने अपनी मौजूदगी दर्ज कराई और उन्होंने यह भी कहा कि प्रशासन जब भी बुलाएगा वह हमेशा प्रशासन के सामने मौजूद रहेंगे.
आगे निशिकांत दुबे ने कहा, “मैं कोई भगोड़ा नहीं हूं. वह कानून बनाते हैं और कानून का सम्मान करना उनका धर्म है और वह अपने धर्म को निभाने से कहीं भी पीछे नहीं हटेंगे. उन्होंने कहा कि उन्हें जैसे ही पता चला कि उनके ऊपर एफआइआर हुआ है वह सीधा मंदिर थाना पहुंचे लेकिन यहां पर अभी तक पूरी कानूनी प्रक्रिया पूरी नहीं हुई है।जिस वजह से वह पुलिस की अनुमति के बाद वापस लौट रहे हैं.
उन्होंने राज्य की हेमंत सरकार और देवघर जिला प्रशासन पर निशाना साधते हुए कहा कि यह सरकार व्यक्तिगत दुर्भावना से उन्हें परेशान करने की कोशिश कर रही है. लेकिन वह बाबा बैद्यनाथ के आशीर्वाद से यह घोषणा करते हैं कि आने वाले समय में यहां की राज्य सरकार और जिला प्रशासन को उनकी गलती का एहसास करायेंगे और करारा जवाब देंगे.
वही उन्होंने कहा कि वह एक सांसद है और धारा 105 के तहत उन्होंने झारखंड के डीजीपी, मुख्य सचिव, देवघर के डीसी और एसपी के खिलाफ संसद में विशेषाधिकार हनन का सवाल उठाया है, जिसकी सुनवाई सोमवार को होगी. अब दिल्ली में ही इन सभी अधिकारियों से सवाल पूछे जाएंगे.
2 अगस्त की घटना को लेकर FIR दर्ज
बता दें कि गोड्डा सांसद निशिकांत दुबे के खिलाफ बाबा मंदिर के पंडा कार्तिक ठाकुर ने बाबा मंदिर थाना में शिकायत दर्ज कराते हुए कहा है कि 2 अगस्त को सांसद निशिकांत दुबे और सांसद मनोज तिवारी नियम को ताक पर रखकर निकासी द्वार से मंदिर के गर्भ गृह में प्रवेश कर रहे थे. शिकायतकर्ता ने यह आरोप लगाते हुए शिकायत दर्ज कराई थी कि मंदिर के निकास द्वार से जबरन प्रवेश करने के कारण सुरक्षा व्यवस्था बाधित हुई थी और पूजा में भी व्यवधान हुआ था.